Umeedein
Lyrics
उम्मीदें किसको है? किससे मिली अब यहाँ पे? किस्से लाखों सुने हैं, कहे हैं यहाँ पे वो चल दिए सुन के कहीं वो बातें अब ना ढले, अब ना कटे ये रातें कब से? कहाँ से? कहाँ के लिए हो चले? बोले, सोचे बिन कुछ कहे थे चले थम जा, रुक जा, ऐ समा अब यहाँ कुछ खोए, थे अपने उम्मीदें थी उनकी वज़ह जी ले ज़रा, खुद की तू बन के उम्मीदें यहाँ जी ले ज़रा, खुद की तू बन के उम्मीदें यहाँ थम जा, रुक जा, ऐ समा अब यहाँ कुछ खोए, थे अपने उम्मीदें थी उनकी वज़ह जी ले ज़रा, खुद की तू बन के उम्मीदें यहाँ जी ले ज़रा, खुद की तू बन के उम्मीदें यहाँ उम्मीदें किस्से
Audio Features
Song Details
- Duration
- 03:38
- Key
- 1
- Tempo
- 140 BPM