Hata Diye
Lyrics
हटा दिए दीवारों से तेरे-मेरे चेहरे जला दिए वो सारे ख़त दराज़ों से मिले कुछ पर्चे जगहों के, मुलाक़ातों के थे गवाह रहने को जिस घर में हम थे चले वो ख़ाली हुआ इस तरह ♪ अरमाँ मोहब्बत के तुम से चले दिल में लेकर के हम भी कभी दिल की ज़रूरत थे तुम, और तुम्हारी ज़रूरत को थी दिल्लगी गुलाब के वो फूल सब किताबों में रहे मिले जो तेरे हाथ से वो तोहफ़े जल गए कुछ हिस्से गुनाहों के जो मिल के थे हमने किए तुम तो सहूलत-बरी हो गए, सारे इल्ज़ाम हमने सहे हटा दिए दीवारों से... ♪ पहले पहल तो हमें भी लगा वक्त के ही रहे सब सितम ग़ैरों की बाँहों में जाने की ऐसी क्या जल्दी रही, ऐ सनम? जो हमको अपना कहते थे, हमारे ना रहे रहे तो अपने हाथ में बहाने रह गए दिन डूबे ख़यालों में, सवालों में हफ़्ते गए अब जा के दिल को समझ आ गया इसको बहला के तुम थे गए हटा दिए दीवारों से तेरे-मेरे चेहरे जला दिए वो सारे ख़त दराज़ों से मिले कुछ पर्चे जगहों के, मुलाक़ातों के थे गवाह रहने को जिस घर में हम थे चले वो ख़ाली हुआ इस तरह
Audio Features
Song Details
- Duration
- 04:10
- Key
- 5
- Tempo
- 105 BPM